Rajasthan के उपभोक्ताओं को गुणवत्तापूर्ण निर्बाध बिजली आपूर्ति करने के संबंध में लिए गए ये महत्वपूर्ण निर्णय

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इंटरनेट डेस्क। राजस्थान के उपभोक्ताओं को गुणवत्तापूर्ण निर्बाध बिजली आपूर्ति करने के संबंध में महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए हैं। ऊर्जा विभाग के प्रमुख शासन सचिव एवं डिस्कॉम्स अध्यक्ष की अध्यक्षता में आयोजित बैठक में ऊर्जा विभाग, ऊर्जा विकास निगम एवं राजस्थान विद्युत उत्पादन निगम के अधिकारियों ने विचार-विमर्श कर प्रयासों में तेजी लाने के लिए महत्वपूर्ण कदम उठाने का निर्णय लिया है।

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इस संबंध में प्रमुख शासन सचिव ऊर्जा एवं अध्यक्ष डिस्कॉम्स भास्कर ए. सावंत ने जानकारी दी है। उन्होंने बताया कि बैठक में विचार-विमर्श के बाद लिए गए निर्णयों के तहत पहला, कोस्टल गुजरात पॉवर लिमिटेड से अनुबंधित 380 मेगावाट बिजली आपूर्ति पुन: आरम्भ करने के लिए भारत सरकार द्वारा तय दर पर बिजली लेने का निर्णय किया गया एवं दूसरा उत्तर प्रदेश की बिजली कंपनियों से प्राप्त पॉवर बैंकिंग के प्रस्ताव के अनुसार माह नवम्बर, 2022 से मार्च, 2023 तक प्रति दिन 1000 मेगावाट से 1500 मेगावाट तक ‘बिजली बैंकिग व्यवस्था’ के आधार पर लेने हेतु उत्तर प्रदेश पॉवर कॉरपोरेशन के साथ वार्ता कर उसे अंतिम रूप दिया गया है। गौरतलब है कि यह बिजली गत वर्ष उत्तर प्रदेश और पंजाब से बैंकिग व्यवस्था में प्राप्त बिजली से भी अधिक है और इससे रबी सीजन के समय राजस्थान डिस्कॉम्स को अच्छी राहत मिलेगी।

एक और महत्वपूर्ण निर्णय लिया गया है जिसके तहत हाल ही में अल्पकालीन आपूर्ति हेतु निविदा के माध्यम से बिजली लेने हेतु प्रयास किये गए थे परन्तु इसमें प्राप्त अधिक दर को देखते हुए पारम्परिक निविदा की पद्धति के आधार पर बिजली क्रय करने के बजाय, एक्सचेंज में तय नई व्यवस्था ‘‘टर्म अहेड’’ का उपयोग करके, उसी माध्यम से 300 मेगावाट तक बिजली प्राप्त करने की योजना को अंतिम रूप दिया गया।

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गौतरलब है कि PEKB Chhatisgarh खान से प्राप्त होने वाले कोयले की आपूर्ति वहां के स्थानीय आंदोलन के कारण बंद हो गई है। इसके कारण राजस्थान उत्पादन निगम को मिलने वाले 9 प्रतिदिन रैक्स की संख्या में कमी आई है। यह कमी विद्युत उत्पादन को प्राप्त होने वाले कुल कोयले की लगभग 40 प्रतिशत है।